प्यार की पुकार है
फूल की फुहार है
प्रीत की धार है
तेरा ही इंतजार है
आ..... जा...... ओ.........मे......री ....सजना
प्यार
की पुकार है. . . . . . . . ।
तेरी पायल की झनक-झनक
प्रीत की रीत सीखाती है
कंगन की खनखन खन
तेरे पास मुझे बुलाती है।
तेरे प्यार के,
बंधन में बँधकर।
चलो चल चलें,
बड़ी दूर, हमसफ़र बन कर।
प्यार की पुकार है
तेरा ही इंतजार है
आ..... जा...... ओ.........मे......री ....सजना।।