प्रेम बन कर छा जाता है
कभी झूठा कभी सच्चा
कभी असली कभी नकली
बदलते हैं रिश्ते नाते
न बदलता है कभी सच्चा प्यार।
रिश्तों में प्यार की परछाई
बना देता है दिल की जुबां
प्रेम बनकर छा जाता है
लब पर ओ मेरे दोस्त।
कभी झूठा कभी सच्चा
कभी असली कभी नकली
बदलते हैं रिश्ते नाते
न बदलता है कभी सच्चा प्यार।